![Mahatma Gandhi, Mahatma Gandhi punyatithi](https://shayaritalk.com/wp-content/uploads/2023/01/gandhi-gd41ff6dda_1920-1024x768.jpg)
महात्मा गांधी की पुण्यतिथि निबंध(death of anniversary) :- भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 30 जनवरी 1948 को 78 वर्ष की आयु में नाथूराम गोडसे द्वारा गोली मारकर उनकी हत्या कर दी गई थी। भारत में प्रति वर्ष उनकी याद में 30 जनवरी को शहीद दिवस के रूप में उनकी पुण्यतिथि मनाई जाती है।
गांधीजी ने अहिंसा का परचम लहराया
महात्मा गांधी का पूरा नाम मोहनदास करमचंद गांधी था। उनका जन्म गुजरात के पोरबंदर में 2 अक्टूबर 1869 को हुआ था गांधीजी ने अपनी शिक्षा इंग्लैंड में पूरी की उसके बाद इंग्लैंड से लौटने पर ब्रिटिश प्रशासन के खिलाफ आजादी का संग्राम का नेतृत्व किया उन्होंने अहिंसा मार्ग चुना और अंग्रेजों के खिलाफ से उनका मुकाबला किया।
महात्मा गांधी एक साधारण व्यक्ति थे, उनके आदर्श अहिंसा को संसार भर के सभी व्यक्ति ने लोहे के लकीर माना था। सभी लोग गांधी जी को बापू नाम से बुलाते थे उन्होंने सत्य अहिंसा पर अपना पूरा जीवन बिताया था।
नाथूराम गोडसे ने आरोप लगाया-
देश विभाजन के लिए गांधीजी जिम्मेदार थे। गांधी जी की पहले ही मौत के पांच असफल कोशिश की जा चुकी थी दिल्ली के बिरला भवन में शाम को प्रार्थना समय उठने के दौरान गांधी जी की मौत कर दी गई थी। गांधी जी के सीने में नाथूराम गोडसे ने तीन गोलियां मारी और उनकी मौत कर दी थी और इस पूरी घटना को दुनिया के अंदर हाहाकार मचा कर रख दिया था
उसके बाद पुलिस ने गोडसे को गिरफ्तार कर लिया गया था उसे अदालत मैं मौत की सजा सुनाई गई थी महात्मा गांधी जी देश के विभाजन के लिए जिम्मेदार थे। ऐसा नाथूराम गोडसे का मानना था । 30 जनवरी 1948 को गोली मारकर हत्या कर दी गई थी
गांधी जी की हत्या के पांच असफल प्रयास
1- पहला प्रयास 25 जून 1934
जब कुछ साजिश कर्ताओ ने एक कार के अंदर बापू को बेटा हुआ मानकर उनकी कार के ऊपर बमबारी की थी जब गांधी जी पुणे के अंदर भाषण देने आए थे।
2- दूसरा प्रयास जुलाई 1944
जब महात्मा गांधी जी को आराम के लिए पंचगनी जाना था और रास्ते में कुछ प्रदर्शनकारियों के एक समूह ने उनके खिलाफ नारे लगाने चालू किए थे गांधीजी ने उन समूह के प्रमुख नेता नाथूराम को बात करने के लिए अपने पास बुलाया और बाद में अस्वीकार कर दिया गया था प्रार्थना सभा के दौरान नाथूराम गोडसे को एक खंजर के साथ गांधी की तरफ दौड़ते हुए पाए गए थे लेकिन किस्मत से सतारा के मणि शंकर पुरोहित और भिलारे गुरु जी ने उनको रोक लिया गया था।
3- तीसरा प्रयास सितंबर 1944
नाथूराम गोडसे के पास एक खंजर पाया गया था महात्मा गांधी जी सेवाग्राम से मुंबई की यात्रा कर रहे थे उनको मोहम्मद अली जिन्ना के साथ वार्तालाप शुरू होनी थी नाथूराम गोडसे अपने बाकी सदस्य के साथ गांधीजी को मुंबई छोड़ने से रोकना था ।उनके आश्रम में भीड़ इकट्ठे कर दी थी बाद में जांच पड़ताल के दौरान ,डॉक्टर सुशीला नायर ने बताया कि नाथूराम गोडसे को गांधीजी तक पहुंचने से रोक दिया गया था।
4- चौथा प्रयास जून 1946
जब महात्मा गांधी जी एक स्पेशल ट्रेन से पुन्ना जा रहे थे। और उनको मारने का षड्यंत्र रचा गया जब ट्रेन की पटरियों पर पत्थर रखें थे और ट्रेन दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। और ट्रेन के चालक ने अपने सूझबूझ कौशल से लोगों की जान बचाई ट्रेन नेरूल और कर्जत के बीच घटना हुई थी और उसमें गांधीजी बच गए थे।
5- पांचवा प्रयास 20 जनवरी 1948
बिरला सभा भवन में एक मीटिंग के दौरान महात्मा गांधी पर जान से मारने की कोशिश की गई थी ।उसमें मदनलाल नाथूराम गोडसे नारायण आप्टे विष्णु करें दिगंबर डेज ने हत्या को अंजाम देने के लिए उस सभा में शामिल होने की कोशिश की गई थी ।उनको पोडियम के ऊपर बम फेंकना था और उनके ऊपर गोली मारने थी ।लेकिन किस्मत से कोशिश उनके काम नहीं आई क्योंकि मदनलाल पकड़ा गया था ।सुलोचनादेवी ने उसको समय पर पहचान लिया गया था।
गांधी जी ने मरते समय का था दो शब्द बोले थे हे राम
गांधी जी का अंतिम संस्कार यमुना के तट पर किया था।
महात्मा गांधी जी का नारा 8 अगस्त 1942 को भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान महात्मा गांधी जी ने करो या मरो का नारा दिया था।
FAQ:
Q: गांधीजी का पहला आंदोलन कौन सा था?
A: पहला सविनय अवज्ञा आंदोलन 1947 चंपारण सत्याग्रह था।
Q: गांधी जी को महात्मा की उपाधि किसने दी?
A: गांधी जी को महात्मा और राष्ट्रपिता की उपाधि डॉक्टर रविंद्र नाथ टैगोर ने दी थी।
Q: महात्मा गांधी डेट ऑफ बर्थ?
A: 2 अक्टूबर 1869
Q: महात्मा गांधी की जन्म और मृत्यु?
A: जन्म 2 अक्टूबर 1869 और मृत्यु 30 जनवरी 1948
Q: महात्मा गांधी के बच्चे?
A: महात्मा गांधी कि कोई बच्चे नहीं थे। (0 बच्चे)
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